
राजसमंद (Rajsamand) गिलुंड कस्बे के प्रताप चौराहे पर महाराणा प्रताप की प्रतिमा के अनावरण समारोह को संबोधित करते हुए विधायक दीप्ति किरण माहेश्वरी ने कहा कि महाराणा प्रताप का स्मरण मातृभूमि की रक्षा के लिए सर्वोच्च बलिदान देने की प्रेरणा देता है। उन्होंने कहा कि वंदे मातरम के 150 वर्ष पूर्ण होने के उत्सव वर्ष में महाराणा प्रताप की प्रतिमा का अनावरण होना अत्यंत सुखद एवं गौरवपूर्ण संयोग है। मातृभूमि की वंदना और उसके गौरव की रक्षा के लिए महाराणा प्रताप सदैव प्रेरणा स्रोत रहे हैं।विधायक दीप्ति माहेश्वरी ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा मानसिक दासता से मुक्त होने का जो आह्वान किया गया है, वह राष्ट्र की आत्मसम्मान यात्रा को शक्ति देता है। उन्होंने कहा कि महाराणा प्रताप के जीवन से हमें मानसिक एवं भौतिक—दोनों प्रकार की दासता से मुक्त रहने की अमिट प्रेरणा मिलती है। प्रताप का स्वाभिमान, पराक्रम और मातृभूमि के प्रति समर्पण भारतीय संस्कृति की अमूल्य धरोहर है।उन्होंने बताया कि राजस्थान सरकार, मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा के नेतृत्व में, महाराणा प्रताप को अंतर्राष्ट्रीय पर्यटन मानचित्र पर विशिष्ट पहचान दिलाने के लिए ‘प्रताप सर्किट’ के विकास को प्रतिबद्धता से आगे बढ़ा रही है। इस सर्किट के माध्यम से मेवाड़ की वीर भूमि को वैश्विक स्तर पर नई पहचान मिलने के साथ पर्यटन एवं आर्थिक गतिविधियों में भी वृद्धि होगी।अनावरण समारोह महंत श्री ज्ञानानंद महाराज, महंत अनुज दास जी महाराज और राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ के क्षेत्रीय प्रचारक श्री निंबाराम के पावन सान्निध्य में संपन्न हुआ। कार्यक्रम के मुख्य अतिथि नाथद्वारा विधायक विश्वराज सिंह मेवाड़ थे, जिन्होंने महाराणा प्रताप के राष्ट्रभाव एवं पराक्रम का स्मरण करते हुए जनसमूह का उत्साहवर्धन किया। कार्यक्रम की अध्यक्षता गिलुंड पंचायत की सरपंच ललिता देवी खेरोदिया ने की।कार्यक्रम में बड़ी संख्या में ग्रामीण जन, युवा और सामाजिक कार्यकर्ताओं ने भाग लेकर महाराणा प्रताप के जीवन मूल्यों को आत्मसात करने का संकल्प व्यक्त किया।
रिपोर्ट – नरेंद्र सिंह खंगारोत
