राजस्थान के अलवर के बीहड़ में वर्षों से चल रही बीफ मंडी के खुलासे हड़कंप मच गया है. राजस्थान की भजनलाल सरकार ने तगड़ा एक्शन लिया है. जयपुर रेंज के आईजी उमेश चंद्र दत्ता ने इस मामले में किशनगढ़बास थाने के 4 पुलिसकर्मियों को सस्पेंड कर दिया है.
सस्पेंड किए गए पुलिसकर्मियों में ASI ज्ञानचंद, बीट कांस्टेबल स्वयं प्रकाश, रविकांत और हेड कांस्टेबल रघुवीर शामिल हैं. आईजी ने निष्पक्ष जांच के लिए किशनगढ़बास थाने के SHO दिनेश मीणा समेत 38 पुलिसकर्मियों को लाइन हाजिर कर दिया है. इस संबंध में निष्पक्ष जांच के लिए कोटपुतली बहरोड़ जिले के ASP नेमीचंद को मामले की जांच सौपी गई है.
दरअसल, एक अख़बार में इस बीफ मंडी की तस्वीरें छपीं तो जयपुर तक हलचल मच गई। आईजी उमेश चंद्र दत्ता ने स्वयं छापेमारी की. इस दौरान 12 बाइक और एक पिकअप भी बरामद है. इसके अलावा गोवंश के अवशेष भी बरामद किए गए है. इन्हे परीक्षण के लिए भेज दिया गया है. बताया जा रहा है कि इस मामले में कई लोगों को हिरासत में लिया गया है.
मीडिया रिपोर्ट् के मुताबिक, अलवर में बीहड़ के बीच बसे बिरसंगपुर के पास रूंध गिदवड़ा में दिनदहाड़े गोकशी की जाती थी. इस इलाके में बड़ी संख्या में लोग गोमांस खरीदने पहुंचते थे. यहां लगभग 600 गायें हर महीने काटी जाती थीं. वही मेवात क्षेत्र के करीब 50 गांवों में गोमांस की होम डिलीवरी भी की जाती थी.
आरोप है कि किशनगढ़बास थाने के पुलिसकर्मियों को पूरी खबर थी. लेकिन कोई कार्रवाई नहीं की जाती थी. अलवर से करीब 60 किलो मीटर दूर इस इलाके में बीफ की बिरयानी भी बेची जाती थी. इसके अलावा खाल और मांस बेचकर कुछ लोग महीने में 4 लाख से ज्यादा तक की कमाई कर रहे थे.
पुलिस के इस कार्रवाई से रूंध गीदावड़ा गांव में हड़कंप मच गया है. बताया जा रहा है कि गांव के सभी मर्द अंडरग्राउंड हो गए हैं. पुलिस संभावित ठिकानों पर दबिश देकर आरोपियों को पकड़ने में जुट गई है.